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वार्ता स्पेशल:केंद्रीय गृह मंत्रालय ने सोमवार को राज्य सरकारों के लिए एक एडवाइजरी जारी की, जिसमें उन्हें फर्जी समाचारों और सोशल मीडिया पर भेजे जा रहे मैसेज आदि को बारीकी से ट्रैक करने के लिए कहा गया है। ऐसा इसलिए किया जा रहा है कि खबर मिली है कि सोशल मीडिया और फेक न्यूज़ के माध्यम से भ्रम फैलाकर लोगों को भड़का कर हिंसा कराया जा रहा है। इस पर अंकुश लगाने के लिए ऐसा निर्णय गृह मंत्रालय ने लिया है।
खबरों के मुताबिक राज्य सरकारों और केंद्र शासित प्रदेशों से कानून और व्यवस्था, शांति और सार्वजनिक शांति बनाए रखने के लिए आवश्यक सावधानी बरतने का अनुरोध किया गया है।हिंसा को रोकने और नागरिकों की सुरक्षा सुनिश्चित करने और संपत्ति की क्षति को रोकने के लिए सभी आवश्यक उपाय किए जाएं।राज्य सरकारों और केंद्रशासित प्रदेशों से यह अनुरोध किया गया है कि वे कानून-व्यवस्था, शांति और सार्वजनिक शांति को बनाए रखने के लिए आवश्यक पूर्वनिवारक कदम उठाएं। उनसे यह अनुरोध भी किया गया है कि वे सोशल मीडिया पर फर्जी समाचारों और अफवाहों के प्रसार के खिलाफ कार्रवाई करें ताकि हिंसा भड़काने का प्रयास असफल हो।हिंसा को रोकने और नागरिकों की सुरक्षा सुनिश्चित करने और संपत्ति की क्षति को रोकने के लिए सभी आवश्यक उपाय किए जाएं। उनसे यह अनुरोध भी किया गया है कि वे सोशल मीडिया पर फर्जी समाचारों और अफवाहों के प्रसार के खिलाफ कार्रवाई करें ताकि हिंसा ना भड़के।
वहीं दूसरी ओर केंद्रीय कानून मंत्री रवि शंकर प्रसाद ने कहा है कि नागरिकता संशोधन बिल का देश के अंदर रहने वाले किसी भी व्यक्ति पर कोई प्रभाव नहीं पड़ेगा लेकिन यह दुर्भाग्यपूर्ण है कतिपय स्वार्थी लोग सांप्रदायिक तनाव का माहौल बनाने के प्रयास में लगे हैं। कांग्रेस पार्टी का भी उनको समर्थन है। जो संप्रदायिक माहौल कायम करना चाह रहे हैं। प्रधानमंत्री ने कहा है हम इस पर बातचीत और बहस कर सकते हैं।
वहीं एक अन्य खबर के मुताबिक गृह मंत्रालय ने सिटीजनशिप अमेंडमेंट ऐक्ट को लागू करने को नियम बनाने में लगी हुई है। राज्य सरकारों और केंद्र शासित प्रदेशों को जारी एडवाइजरी में इस बात का उल्लेख है।गृह मंत्रालय ने कहा है कि सिटिजनशिप अमेंडमेंट ऐक्ट का भारतीय नागरिकों पर कोई प्रभाव नहीं पड़ेगा।
दूसरी ओर गृह मंत्री अमित शाह ने झारखंड में एक सार्वजनिक रैली में कहा था कि सिटीजनशिप अमेंडमेंट बिल धर्म के आधार पर दूसरे देशों से निकाले गए शरणार्थियों को नागरिकता देगा। यह कानून किसी भारतीय की नागरिकता को नहीं छीनेगा। कुछ दल अफवाहें फैला रहे हैं और अपने राजनीतिक हित के लिए हिंसा भड़का रहे हैं। मैं छात्रों से अनुरोध करता हूं कि वे एक बार सीएए को पढ़ें और वो राजनेताओं के जाल में न पड़ें।
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