सिल्ली: मन में यदि कुछ करने की तमन्ना हो तो वह नामुमकिन नहीं मुमकिन हो जाता है और कुछ ऐसा ही देखने को मिल रहा है सिल्ली बिरसा मुंडा आर्चरी सेंटर में जहां गंगटोक सिक्किम जैसे खूबसूरत वादियां से बाहर निकल कर झारखंड के छोटे से गांव सिल्ली में तीरंदाज का गुर सीखने के लिए पहुंचे सोनम लेपचा। सोनम लेपचा पिछले कई दिनों से बिरसा मुंडा आर्चरी सिल्ली में तीरंदाजी का बेहतर अभ्यास कर रहे हैं। सोनम ने बताया पिछले 2 सालों से सिक्किम आर्चरी एसोसिएशन में अभ्यास कर रहे हैं। परंतु इस कैरियर को आगे बढ़ाने के लिए मुझे इस सेंटर में पहुंचना पड़ा। क्योंकि इस केंद्र की उपलब्धियां एवं कहानी अपने कोच के जुबानी सुन चुका था। उनके जीद के आगे उनके परिजनों को झुकना पड़ा एवं उनकी दीदी के साथ वो झारखंड राजधानी रांची पहुंचे। तथा सेंटर पर आने की अनुमति के लिए सिल्ली सेंटर के कोच से मोबाइल पर बात की। कोच ने जगह के अभाव पर प्रशिक्षण नहीं देने की बात के बावजूद वो सिल्ली सेंटर पहुंचे। तथा किसी भी परिस्थिति में रहकर प्रशिक्षण प्राप्त करने की बात कही। उसके इस जुनून को देखकर कोच प्रकाश राम ने कहा कि
जिंदगी में कुछ भी हासिल करने के लिए मेहनत सिक्किम के तीरंदाज सिल्ली में सीख रहा है तीरंदाजी के करना पड़ता है। यदि कोई भी व्यक्ति अपने लक्ष्य को निर्धारित कर दिन-रात सिर्फ उसे पूरा करने का सपना देखे और उसके लिए मेहनत करे, तो ऐसा कोई भी लक्ष्य नहीं है जिसे पूरा करना संभव न हो।