नई दिल्ली: झारखंड कांग्रेस के कार्यकारी अध्यक्ष सह झारखंड सरकार राज्य समन्वय समिति के सदस्य बंधु तिर्की ने दिल्ली में कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खरगे से मुलाकात की है. इस मुलाकात में सरना धर्म कोड को लेकर व्यापक आंदोलन और भविष्य को लेकर रणनीति तैयार करने पर चर्चा हुई है.
पूर्व मंत्री बंधु तिर्की ने बताया कि जातिगत जनगणना 2025 में सरना धर्म कोड को शामिल करना सबसे ज्वलंत एवं गंभीर मुद्दा है और इसके बिना जनगणना बेइमानी है. बंधु तिर्की ने कहा कि यह केवल झारखण्ड ही नहीं बल्कि पूरे देश भर के आदिवासियों की धार्मिक, सामाजिक, सांस्कृतिक अस्मिता को बचाने की चुनौती है. इसके लिये राष्ट्रीय स्तर पर एकजुट हो कर आवाज बुलंद करना होगा.
बंधु तिर्की ने सरना धर्म कोड के मुद्दे पर दिल्ली में देश भर के आदिवासियों का सम्मेलन बुलाने की मांग रखी है. ताकि केंद्र सरकार पर जातिगत जनगणना में सरना धर्म कोड के लिए सातवां कॉलम बनाने का राजनीतिक दबाव बनाया जा सके. दिल्ली में कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खरगे से मुलाकात के दौरान बंधु तिर्की ने बताया कि झारखण्ड कांग्रेस सरना धर्म कोड का मुद्दा जोर-शोर से उठा रही है लेकिन राष्ट्रीय स्तर पर सरना धर्म कोड आंदोलन की जरूरत है. क्योंकि सरना आदिवासी देश के अनेक राज्यों एवं केन्द्र शासित प्रदेशों में रहते हैं. लोकसभा में नेता प्रतिपक्ष राहुल गांधी एवं कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खरगे पहले ही सरना धर्म कोड को जनगणना में शामिल करने को सबसे जरूरी बता चुके हैं.
बंधु तिर्की ने कांग्रेस अध्यक्ष को जानकारी दी कि वे सरना धर्म कोड को जनगणना में शामिल करने के मुद्दे पर कांग्रेस महासचिव एवं सांसद के. सी. वेणुगोपाल, झारखण्ड कांग्रेस प्रभारी के. राजू, राज्यसभा सदस्य मुकुल वासनिक व इमरान प्रतापगढ़ी और राष्ट्रीय प्रवक्ता पवन खेड़ा से मुलाक़ात कर अनुरोध कर चुके हैं. बंधु तिर्की ने इस मौके पर कांग्रेस अध्यक्ष को विशेष रूप से पारम्परिक मांदर भेंट किया.