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समस्तीपुर:कोर्ट में पेशी के लिए आए पांच कैदी पुलिस को धक्का देकर फरार,एक गिरफ्तार,मचा हड़कंप

On: May 28, 2025 8:53 AM
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बिहार: बिहार में इन दिनों फिर से एक बार अपराध का ग्राफ तेजी से बढ़ गया है। कल ही विभिन्न जगहों पर छह मर्डर की बात सामने आ रही है जिसमें दो व्यापारी जो कि अपने शोरूम बंद कर लौटते थे इस दौरान उनकी हत्या हुई है एक टीचर की हत्या हुई है इसके अलावा भी हत्याएं हुई है। लोग बढ़ते अपराध के खिलाफ प्रदर्शन कर रहे हैं। इसी बीच एक और खबर ने पुलिस और प्रशासन महकमे में हड़कंप मचा दिया है। समस्तीपुर कोर्ट में पेशी के लिए ले गए 5 कैदी पुलिस को धक्का देकर फरार हो गए हैं।

मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक समस्तीपुर जिले में कोर्ट परिसर से पेशी के लिए लाए गए पांच बंदी पुलिस को चकमा देकर फरार हो गए. इस घटना में एक बंदी को पुलिस ने मौके पर ही पकड़ लिया, जबकि चार अन्य की तलाश जारी है. इस पूरे मामले को लेकर पुलिस महकमे में हड़कंप मच गया है. सुरक्षा व्यवस्था पर सवाल खड़े हो रहे हैं.

पुलिस के अनुसार, बंदियों को विभिन्न मामलों में पेशी के लिए कोर्ट लाया गया था. पेशी के बाद जब उन्हें हाजत में बंद किया जा रहा था, तभी चार बंदियों ने पुलिसकर्मियों को धक्का देकर भागने की कोशिश की. इस दौरान एक बंदी को पकड़ लिया गया, जबकि चार अन्य फरार हो गए. फरार बंदियों में से तीन लूट के मामलों में आरोपी हैं और उनके खिलाफ वैशाली और मुजफ्फरपुर जिलों में मामले दर्ज हैं.समस्तीपुर के डीएसपी सिटी संजय पांडे ने बताया कि घटना के तुरंत बाद पुलिस ने चारों फरार बंदियों की तलाश शुरू कर दी है. उन्होंने कहा कि अगर इस घटना में किसी पुलिसकर्मी की लापरवाही पाई जाती है, तो उसके खिलाफ कड़ी कार्रवाई की जाएगी. पुलिस ने फरार बंदियों की गिरफ्तारी के लिए विशेष टीमों का गठन किया है और संभावित ठिकानों पर छापेमारी की जा रही है.इस घटना ने कोर्ट परिसर और पुलिस सुरक्षा व्यवस्था पर गंभीर सवाल खड़े कर दिए हैं. लोगों का कहना है कि पेशी के दौरान बंदियों की सुरक्षा सुनिश्चित करना पुलिस की जिम्मेदारी है. इस तरह की घटनाएं न केवल पुलिस की कार्यप्रणाली पर सवाल उठाती हैं.

Satish Sinha

मैं सतीश सिन्हा, बीते 38 वर्षों से सक्रिय पत्रकारिता के क्षेत्र से जुड़ा हूँ। इस दौरान मैंने कई अखबारों और समाचार चैनलों में रिपोर्टर के रूप में कार्य करते हुए न केवल खबरों को पाठकों और दर्शकों तक पहुँचाने का कार्य किया, बल्कि समाज की समस्याओं, आम जनता की आवाज़ और प्रशासनिक व्यवस्थाओं की वास्तविक तस्वीर को इमानदारी से उजागर करने का प्रयास भी निरंतर करता रहा हूँ। पिछले तकरीबन 6 वर्षों से मैं 'झारखंड वार्ता' से जुड़ा हूँ और क्षेत्रीय से जिले की हर छोटी-बड़ी घटनाओं की सटीक व निष्पक्ष रिपोर्टिंग के माध्यम से पत्रकारिता को नई ऊँचाइयों तक ले जाने का प्रयास कर रहा हूँ।

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