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मझिआंव (गढ़वा): मझिआंव प्रखंड क्षेत्र स्थित कस्तूरबा गांधी आवासीय बालिका विद्यालय में स्वतंत्रता दिवस के मौके पर एक बड़ी लापरवाही सामने आई। विद्यालय की वार्डन द्वारा तिरंगा झंडा उल्टा फहराया गया। यह घटना विद्यालय प्रबंधन पर सवाल खड़ा करती है कि आखिर राष्ट्रीय पर्व जैसे अवसर पर इतनी बड़ी लापरवाही कैसे हो गई।

दरअसल, 15 अगस्त की सुबह विद्यालय परिसर में स्वतंत्रता दिवस समारोह का आयोजन किया गया था। इस दौरान छात्राओं, शिक्षिकाओं और वार्डन की मौजूदगी में ध्वजारोहण कार्यक्रम होना था। लेकिन जब विद्यालय की वार्डन ने झंडा फहराया तो राष्ट्रीय ध्वज उल्टा लहरा गया। कुछ देर तक वहां मौजूद लोग स्थिति को समझ नहीं पाए, लेकिन जैसे ही लोगों की नजर झंडे की स्थिति पर पड़ी, माहौल असहज हो गया। घटना के बाद हड़कंप मच गया और आनन-फानन में झंडे को सही तरीके से पुनः फहराया गया।

राष्ट्रीय ध्वज का सम्मान भारतीय ध्वज संहिता 2002 के अंतर्गत अनिवार्य है। झंडे को उल्टा फहराना न केवल असावधानी है, बल्कि इसे राष्ट्रध्वज का अपमान भी माना जाता है। इस तरह की गलती के लिए जिम्मेदार व्यक्ति के खिलाफ कानूनी कार्रवाई भी संभव है।