झारखंड स्टेट लाइवलीहुड प्रोमोशन सोसायटी के तत्वाधान में समाहरणालय परिसर गढ़वा में दिन दयाल उपाध्याय ग्रामीण कौशल योजना के तहत कैंडिडेट मूवमेंट का आयोजन किया गया। कार्यक्रम का उद्धघाटन उप विकास आयुक्त राजेश कुमार राय द्वारा किया गया। जिसमें गढ़वा जिला से विभिन्न ट्रेड जैसे सिलाई, सहायक नर्स, इलेक्ट्रीशियन तथा पैकर पीकर में कैंडिडेट को प्रशिक्षण हेतु रोजगार के लिए हरी झंडी दिखाकर रवाना किया गया।
इलेक्ट्रीशियन में कुल 12 कैंडिडेट सगमा,गढ़वा सदर,मेराल,डंडई,कांडी,रांका से सहायक नर्स में कुल 4 चिनिया तथा मेराल से पैकर पीकर में 2 कैंडिडेट कांडी से तथा सिलाई में कुल 14 कैंडिडेट भवनाथपुर, केतार,डंडा, नगरऊंटारी,धुरकी तथा गढ़वा सदर से कुल 32 कैंडिडेट का मूवमेंट उपविकाश आयुक्त सर के द्वारा कैंडिडेट को रोजगार प्रशिक्षण हेतु मूवमेंट कराया गया। कैंडिडेट विभिन्न ट्रेड जैसे, ( PIA ) project implementation agency का नाम तथा पता : रस्तोगी एजुकेशन सोसायटी राजनंद गांव छत्तीसगढ़ ,( इलेक्ट्रीशियन, सहायक नर्स, पैकर पीकर) आईडी टेक रांची ( सिलाई ) प्लानेट तथा एलएनजे रांची ( सिलाई ) में भेजा गया। इस कार्यक्रम में जिला कार्यक्रम प्रबंधक सुशील कुमार दास ,जिला कॉर्डिनेटर संयोग संगम पांडेय , अंजनी कुमार तथा प्रमोद पांडेय मौजूद थे। DDUGKY भारत सरकार द्वारा सुरु की गई युवा रोजगार योजना है। जिसके तहत देश के सभी ग्रामीण छेत्रो के गरीब युवाओं को रोजगार प्रदान कराना है। DDUGKY के मुख्य उद्देश गरीबों को विश्व स्तरीय प्रशिक्षण एवं रोजगार उपलब्ध कराने में जोर देने, रोजगार स्थाई बनाने, आजीवका में उन्नति करने के लिए सक्षम बनाता है।
DDUGKY के तहत गांव में रहने वाले युवाओं को जागरूक किया जाता है।गरीब युवाओं और उनके माता पिता की काउंसलिंग होती है। योगता के आधार पर कुशलता विकाशित करने के लिए युवाओं का चयन होता है। अच्छी नौकरी के लिए बेहतर ट्रेनिंग दी जाती है। DDUGKY के तहत सहायक नर्स, गोदाम परिचालक, सिलाई कढ़ाई तथा इलेक्ट्रीशियन(बिजली) संबंधित कार्य की ट्रेनिंग दी जाती है।
DDUGKY के लाभ :-
- जरूरी प्रशिक्षण उपलब्ध कराने से युवाओं के करियर में प्रगति।
- ग्रामीण क्षेत्र के जादा से जादा लोगो की पहुंच तक रोजगार सुनीचित कराना।
DDUGKY योजना के महत्वपूर्ण कदम:-
- रोजगार के अवसर के बारे में ग्रामीण समुदाय के भीतर जागरूकता बढ़ाना
- गरीब ग्रामीण युवाओं की पहचान करना।
- गरीब युवाओं के माता पिता को जागरूक करना।
- योगता के आधार पर कुशलता विकसित करने के लिए युवाओं का चयन करना।
- ऐसी नौकरी देना जिनका सत्यापन स्वतंत्र तरीका से किया जा सके और युवाओं को जादा से जादा नौकरी के दौरान लाभ मिल सके।