गढ़वा: शिक्षा से वंचित हो रही छात्राओं की हो वैकल्पिक व्यवस्था : चन्दन जायसवाल

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गढ़वा : झारखंड सरकार के अनोखे शिक्षा मॉडल से कई विद्यार्थी नवम कक्षा में नामांकन से वंचित हो गये हैं। इसका सबसे ज्यादा असर बालिका शिक्षा पर पड़ा है। सरकार के इस फैसले से जिला मुख्यालय के बालिका प्लस टू उच्च विद्यालय की 800 से ज्यादा छात्राएं आगे की शिक्षा से वंचित हो गयी हैं। गढ़वा शहर के सांसद प्रतिनिधि चन्दन जायसवाल ने इन छात्राओं की आवाज बनकर डीसी से मुलाकात की और उनके नवम में नामांकन के लिये वैकल्पिक व्यवस्था बनाने की मांग की।

बता दें कि जिला मुख्याल के बालिका प्लस टू उच्च विद्यालय, रामासाहू उच्च विद्यालय और गोविंद प्लस टू विद्यालय को मॉडल स्कूल बनाया गया है। इन तीनों विद्यालयों में अब सीबीएसई पैटर्न पर अंग्रेजी माध्यम में शिक्षा दी जानी है। इसके लिये नवम कक्षा में नामांकन प्रवेश परीक्षा के माध्यम से लिया जा रहा है। नामांकन के लिये सरकार ने अधिकतम 120 सीट ही निर्धारित किया है। जिला मुख्यालय के बालिका प्लस टू उच्च विद्यालय की बात करें तो वहां प्रतिवर्ष नवम कक्षा में 800-900 बच्चियों का नामांकन लिया जाता था।

गढ़वा नगर परिषद क्षेत्र और आसपास की छात्राओं के शिक्षा के लिये यह एक मात्र संस्थान है। इस वर्ष इस स्कूल में मात्र 120 छत्राओं का ही नामांकन नवम वर्ग में लिया जा रहा है। शेष छात्राओं की पढ़ाई कैसे और कहां होगी, इसपर सरकार और शिक्षा विभाग का रुख अब तक स्पष्ठ नहीं है। लेकिन युवा समाजसेवी सह सांसद प्रतिनिधि चन्दन जायसवाल इस जटिल समस्या को लेकर गम्भीर हो गये हैं।

उन्होंने डीसी को मांग पत्र सौंपकर वर्ग नवम् विशेष रूप से शहरी एवं आस पास के ग्रामीण क्षेत्र के छात्राओं के नामांकन से वंचित होने की गंभीर समस्या से अवगत कराया। मांग पत्र में कहा गया है कि इस वर्ष राज्यकृत बालिका प्लस टू उच्च विद्यालय गढ़वा को उत्कृष्ट विद्यालय का दर्जा दिया गया है जिसके फलस्वरूप जांच परीक्षा के बाद मात्र 120 छात्राओं का नामांकन हो रहा है, प्रति वर्ष गढ़वा शहर के सहिजना, टण्डवा, सोनपुरवा, चिनियां रोड, दीपुंवा, बाजार क्षेत्र, नगवां, उंचरी गढ़देवी मुहल्ला, साई मुहल्ला मेन रोड आदि मुहल्ले के विभिन्न विद्यालयों से लगभग 800-900 छात्राओं का नामांकन बालिका विद्यालय गढ़वा में होते आ रहा है।

शिक्षा के नये मॉडल से 800 से ज्यादा छात्राओं के सामने नवम कक्षा में नामांकन की गंभीर समस्या खड़ी हो गई है। जिससे गढ़वा शहर एवं आसपास के ग्रामीणों क्षेत्र की छात्राओं का कक्षा नवम् में नामांकन नहीं हो पा रहा है। जिससे बच्चियों का शैक्षणिक भविष्य अधर में आ गया है। इस कारण बच्चियों के अभिभावक भी काफी परेशान हैं। डीसी ने इस समस्या के निदान के लिये प्रयास करने की बात कही है।